Balasore Train Accident News : सीबीआई ने शुरू की ट्रैन एक्सिंडेंट की जाँच | CBI starts investigation of train accident

CBI starts investigation of train accident
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ओड़िशा रेल हादसा : सीबीआई ने शुरू की ट्रैन एक्सिंडेंट की जाँच

नई दिल्ली :CBI starts investigation of train accident-  चार दिन पहले ओड़िशा के बालशोर में हुए तीन ट्रेनों के एक्सीडेंट की जाँच केंद्रीय जाँच ब्यरो ने शुरू कर दी है | केंद्रीय जाँच एजेंसी की 6 लोगों की टीम मंगलवार को बालासोर के बहानगा बाजार रेलवे स्टेशन पहुंची | केंद्रीय जाँच एजेंसी की टीम ने यहां रेलवे स्टेशन सिग्नलिंग रूम, रिकॉर्ड रूम और अधिकारियों से पूछताछ की | रेलवे के उच्च अधिकारीयों के अनुसार इस एक्सीडेंट के तीन कारण सामने आये हैं |

इन तीन कारणों से हुआ बालासोर ट्रैन हादसा – CBI starts investigation of train accident

सबसे पहले आपको बता दें कि बालासोर के बहानगा बाजार स्टेशन पर चार लाइनें हैं। दो सीधी मेन लाइन हैं। इस लाइन पर ट्रेन नहीं रुकती है। बाकी दो लूप लाइन हैं। अगर किसी ट्रेन को स्टेशन पर रोकना होता है तो उसे लूप लाइन पर रोका जाता है। एक्सीडेंट वाले दिन लूप लाइन पर दो मालगाड़ियां खड़ी थी वहीं मेन लाइन पर चेनई हावड़ा जाने वाली कोरामंडल ट्रैन चल रही थी जिसकी अनुमानित स्पीड 128 किमी/घंटा थी | इस समय ग्रीन सिग्नल था जिसकी वजह से कोरामंडल को लगा की सब कुछ ठीक है |

इसी दौरान सेटिंग में गड़बड़ी के चलते कोरामंडल लूप लाइन पर खड़ी एक मालगाड़ी से टकरा गयी | इसी दौरान वहां से दूसरी मेन लाइन पर गुज़र रही बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट के दो डिब्बे भी इसकी चपेट में आ गए | इस तरह के तीन ट्रेनों के इस हादसे ने पुरे देश में गमगीन माहौल बना दिया | मामले की जाँच सीबीआई को सौंपी गयी है | CBI starts investigation of train accident

CBI starts investigation of train accident
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इस हादसे का एक कारण ये भी बताया जा रहा है कि जिस वक्त ये हादसा हुआ उस वक्त एक रेलवे क्रॉसिंग का बूम बैरियर खराब हो गया था और उसकी रिपेयरिंग का काम चल रहा था। कोरोमंडल एक्सप्रेस इसी लाइन से गुजरने वाली थी। ऐसा माना जा रहा है कि काम को जल्दबाजी में खत्म करने के चलते सिग्नलिंग से जुड़े लोकेशन बॉक्स को नुकसान पहुंचा हो। इसकी वजह से इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग सिस्टम में खराबी आई हो। CBI starts investigation of train accident

यानी इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग सिस्टम ने कोरोमंडल एक्सप्रेस को मिसगाइड किया। इसकी वजह से कोरोमंडल एक्सप्रेस को मेन लाइन से जाना था, जबकि ऐन वक्त पर उसे लूप लाइन पर डाल दिया गया और वो लूप लाइन में खड़ी मालगाड़ी से जा टकराई। इसमें यही कारण नज़र आ रहा कि कोरामंडल को मैन लाइन पर जाना था लेकिन उसको लूप लाइन के लिए गाइड किया गया जहाँ पहले ही लूप लाइन पर मालगाड़ी खड़ी थी जिसे कोरामंडल जा टकराई |

पूर्व रेल मंत्री दिनेश चतुर्वेदी ने इसमें जानबूझ कर की साजिस भी बताया है उन्होंने कहा कि टरलॉकिंग सिस्टम के बारे में मेरे पास जो इनपुट और समझ है, मुझे लगता है कि एक गंभीर छेड़छाड़ थी, जिससे कोरोमंडल एक्सप्रेस मुख्य ट्रैक से लूप लाइन पर चली गई।

दिनेश त्रिवेदी ने कहा कि ‘सिग्नल ग्रीन था और इंटरलॉकिंग सिस्टम का इस तरह खराब होना असंभव है। एक सिस्टम में इतने संयोग नहीं होते हैं। यदि किसी पॉइंट पर एक इंटरलॉकिंग सिस्टम फेल होता है या खराब होता है तो एक और सिस्टम लागू हो जाता है। इसीलिए इस सिस्टम को ‘फेल-सेफ’ कहा जाता है। CBI starts investigation of train accident

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Balasore Train Accident

यदि फेल-सेफ सिस्टम एक्टिव हो जाता तो उस ट्रैक पर सभी सिग्नल रेड हो जाते हैं, और ट्रेन रुक जाती। उन्‍होंने कहा कि यह कोई साजिश लगती है, जिसे सावधानी से अंजाम दिया गया।

पूर्व रेल मंत्री ने बताया कि एक ड्राइवर सिग्नल के आधार पर केवल ब्रेक लगा सकता है या ट्रेन की स्पीड बढ़ा सकता है। ड्राइवर न तो ट्रैक बदल सकता है और न ही ट्रेनों का रूट बदल सकता है। लिहाजा, सिस्टम के अंदर से छेड़छाड़ किए जाने के बाद ट्रेन ने ट्रैक बदला और अपने आप ही मेन लाइन से लूप लाइन पर चली गई। उन्होंने कहा कि सीबीआई को इस एंगल से भी जाँच करनी चाहिए |

 

 

 

 


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